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कोपा अमेरिका: 10 खिलाड़ियों के साथ खेल रही ब्राजील ने पेरू को 3-1 से हराकर जीता खिताब

मेजबान ब्राजील ने रविवार को पेरू को 3-1 से हराकर नौवीं बार कोपा अमेरिका खिताब पर कब्जा कर लिया। रियो के...
कोपा अमेरिका: 10 खिलाड़ियों के साथ खेल रही ब्राजील ने पेरू को 3-1 से हराकर जीता खिताब

मेजबान ब्राजील ने रविवार को पेरू को 3-1 से हराकर नौवीं बार कोपा अमेरिका खिताब पर कब्जा कर लिया। रियो के माराकाना स्टेडियम में खेले गए इस मुकाबले में जीसस ने अपनी टीम के लिए पहले हाफ के इंजरी टाइम (48वें मिनट) में गोल किया। ब्राजील के लिए अन्य गोल एवर्टन सोरारेस ने 15वें मिनट में किया जबकि रिचार्लिसन ने 90वें मिनट में पेनाल्टी पर गोल किया। जीसस को 70वें मिनट में लाल कार्ड दिखाया गया और उन्हे मैदान से बाहर जाना पड़ा। इसके बाद ब्राजील की टीम 10 खिलाड़ियों के साथ खेलने को मजबूर हुई। 

अपनी मेजबानी पांचवी बार जीता खिताब

ब्राजील ने 12 साल बाद यह टूर्नामेंट जीता है। इसी के साथ ब्राजील ने अपनी मेजबानी में कोपा अमेरिका जीतने का रिकॉर्ड भी बरकरार रखा। 1919, 1922, 1949, 1989 के बाद यह पांचवां मौका है, जब ब्राजील को कोपा अमेरिका की मेजबानी दी गई और उसने टूर्नामेंट में जीत हासिल की। ब्राजील ने टूर्नामेंट के नए फॉर्मेट (1993 के बाद) में अब तक छह बार फाइनल खेला है। इसमें पांच बार उसे जीत मिली है। टीम को एकमात्र हार 1995 में उरुग्वे के खिलाफ मिली थी।

उरुग्वे ने सबसे ज्यादा बार जीता है यह टूर्नामेंट

तीसरी बार और 1975 के बाद पहली बार खिताब के लिए प्रयासरत पेरू के लिए मैच का एकमात्र गोल पाओलो गोएरेरो ने 44वें मिनट में पेनाल्टी पर किया। दक्षिण अमेरिका के इस सबसे प्राचीन और प्रतिष्ठित फु़टबॉल टूर्नामेंट में उरुग्वे का बोलबाला रहा है। उसने सबसे अधिक 15 बार यह खिताब जीता है। इसके बाद अर्जेंटीना (14) का स्थान है। ब्राजील नौ खिताब के साथ तीसरे स्थान पर है। पेरू की टीम ने 1939 में अपनी मेजबानी में पहली बार चैम्पियन बनने का गौरव हासिल किया था। इसके बाद उसने 1975 में आखिरी बार यह खिताब जीता था। इसके अलावा वह पांच बार तीसरे स्थान पर रहा है।

अर्जेंटीना रहा तीसरे नंबर पर

इस साल अर्जेंटीना को तीसरा स्थान प्राप्त हुआ, जबकि बीते संस्करण का खिताब जीतने वाले चिली की टीम को चौथा स्थान मिला। टूर्नामेंट में तीसरे स्थान के मुकाबले में अर्जेंटीना ने चिली पर 2-1 की जीत दर्ज की। हालांकि शनिवार को हुए मैच के दौरान विवाद हुआ और एक कड़े फैसले में लाल कार्ड दिखाकर बाहर किए जाने के बाद मेसी भड़क उठे। उन्होंने टूर्नामेंट में भ्रष्टाचार का आरोप लगाते हुए रेफरी को लताड़ा।

यह हुआ था

मैच के दौरान पहले हाफ के 37वें मिनट में पांच बार के बेलन डि ऑर विजेता मेसी और चिली के कप्तान गैरी मेडेल को गोललाइन के समीप उलझने के लिए लाल कार्ड दिखाकर बाहर कर दिया गया। इस घटना के टेलीविजन रीप्ले में हालांकि दिखा कि मेसी की अधिक गलती नहीं थी। उसके बाद मेसी ने कहा, भ्रष्टाचार और रेफरी लोगों को फुटबॉल का लुत्फ उठाने से रोक रहे हैं और इसे कुछ हद तक बर्बाद कर रहे हैं। इस घटना के लिए संभवत: सिर्फ चिली के कप्तान को पीला कार्ड दिखाया जाना था लेकिन पराग्वे के रेफरी मारियो डियाज डि वेवार ने दोनों कप्तान को लाल कार्ड दिखा दिया। 

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