भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) के पूर्व प्रमुख और अंतरराष्ट्रीय स्तर के अंतरिक्ष वैज्ञानिक उडुपी रामचंद्र राव का का आज निधन हो गया। वह 85 वर्ष थे।
एक बाद एक नई सफलता हासिल करने वाले भारत अंतरिक्ष संगठन इंडियन स्पेस रिसर्च ऑर्गनाइजेशन (इसरो) ने आज एक और मिसाइल का सफल परीक्षण कर कामयाबी हासिल की है।
कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने इसरो की ओर से लॉन्च किए गए मिसाइल के सफल परीक्षण पर वैज्ञानिकों को बधाई दी है। इसरो ने आज कार्टोसैट-2s सैटलाइट के साथ 30 नैनो सैटलाइट्स को पीएसएलवी-सी38 वीइकल से छोड़ा।
राष्ट्रपति चुनाव में दलित समाज से जुड़े बिहार के राज्यपाल रामनाथ कोविंद को आगे कर भाजपा ने एक तीर से कई निशाने साधे हैं। दलित समुदाय से ताल्लुक रखने वाले कोविंद की उम्मीदवारी के मुद्देे पर विपक्ष भी उलझन में पड़ा सकता है। यहां तक कि बसपा प्रमुख मायावती भी सीधे तौर पर उनका विरोध नहीं कर पा रही हैं।
इसरो ने जीएसएलवी मार्क 3 लांच कर विज्ञान के क्षेत्र में इतिहास रचा है, लेकिन क्या इस बार राष्ट्रपति पद के लिए इसरो के किसी वैज्ञानिक को उम्मीदवार बनाया जा सकता है? अटल बिहारी वाजपेयी के कार्यकाल में मिसाइल मैन अब्दुल कलाम का हवाला देते हुए राजनीतिक गलियारों में इस तरह की चर्चाएं चल रही हैं। ऐसा हुआ तो यह भी अपने आप में इतिहास ही होगा।
भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने सोमवार शाम ठीक 5:28 बजे जीएसएलवी मार्क-3 रॉकेट लॉन्च कर इतिहास रच दिया है। पूरी तरह देश में बने सबसे भारी रॉकेट के लांच के साथ ही इसरो और मोदी सरकार के खाते में एक और बड़ी उपलब्धि जुड़ गई है। पिछले तीन सालों में इसरो की सफलता की कहानी उल्लेखनीय रही है!
भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन :इसरो: के एक बेहद सुरक्षित और साफ कमरे में एक नई किस्म की जुगलबंदी बन रही है। निजी क्षेत्र के दल सरकारी इंजीनियरों के साथ मिलकर एक ऐसा उपग्रह बनाने का काम कर रहे हैं, जो जल्दी ही आसमान में स्थापित किया जाएगा।
धर्मांतरण का मुद्दा उठाते हुए राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ आरएसएस के प्रमुख मोहन भागवत ने कहा कि देश में ऐसी कोशिशों के कामयाब होने की संभावना नहीं है क्योंकि मिशनरियों में ताकत नहीं है।
कांगो रिपब्लिक में हुए एक बम धमाके में भारत के 32 शांति सैनिक घायल हो गए हैं। इस धमाके में एक स्थानीय बच्चे की मौत हुई है। संयुक्त राष्ट्र मिशन ने इस घटना की पुष्टि की है।
गतिमान एक्सप्रेस की सफल शुरुआत के बाद रेलवे ने दिल्ली-हावड़ा और दिल्ली-मुंबई रूटों पर यात्रा की अवधि कम करने की दिशा में बहुत बड़ा कदम उठाते हुए इन रूटों पर ट्रेनों की रफ्तार बढ़ाकर 160 किलोमीटर प्रति घंटा करने की याजना बनाई है जिसकी अनुमानित लागत लगभग 10,000 करोड़ रुपये की बताई जा रही है।