दिल्ली पुलिस ने जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) के कुलपति के साथ दुर्व्यवहार करने मामले में जेएनयू के 23 छात्र-छात्राओं के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है।
सीबीएसई के सभी छात्रों के लिए साल 2018 से 10 वीं कक्षा की बोर्ड परीक्षा अनिवार्य होने वाली है। इसकी संचालन इकाई ने इस बारे में एक प्रस्ताव को आज आमराय से मंजूरी दे दी।
अंतरराष्ट्रीय गीता महोत्सव के तहत गीतामय युवा चेतना कार्यक्रम में 18,473 स्कूली छात्रों ने साथ मिलकर गीता के 18 अध्यायों से 18 श्लोक पढ़े जिस पर हरियाणा सरकार ने नया विश्व रिकार्ड कायम करने का दावा किया।
देश के प्रतिष्ठित जवाहर लाल विश्वविद्यालय में पिछले दो साल से गतिरोध थमने का नाम नहीं ले रहा है। एक के बाद एक वाकये से जेएनयू प्रशासन भी त्रस्त हो गया है। एक साल पहले यहां के छात्र नेता ने देश विरोधी नारे लगाए ऐसी खबरों के बीच अब एक और छात्र नजीब के लापता होने से विश्वविद्यालय फिर गलत कारणों से खबरों में आ गया है।
मुस्लिमों के साथ मजहब के नाम पर और दलितों के साथ जाति के नाम पर भेदभाव होने का दावा करते हुए प्रमुख मुस्लिम संगठन जमीयत उल उलेमा ए हिंद के महासचिव मौलाना महमूद मदनी ने आज दलित और मुस्लिम समाज से एकजुट होने का आह्वान किया।
गाजीपुर रैली में पीएम नरेंद्र मोदी द्वारा नोटों की माला वाली टिप्पणी पर भडकीं मायावती ने रैली को बुरी तरह फ्लॉप ठहराते हुए आरोप लगाया कि रैली के जरिये भारी मात्रा में काला धन खपाया गया और उसमें लोगों को ढाई-ढाई सौ रूपये देकर बुलाया गया। बसपा सुप्रीमो ने कहा कि प्रधानमंत्री ने गाजीपुर में पूरे भाषण के दौरान जो भी कहा, थोथा चना बाजे घना की तरह था।
राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग के पूर्व अध्यक्ष और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी एल पूनिया ने मोदी सरकार में दलितों पर अत्याचार के मामले बढ़ने का आरोप लगाते हुए आज कहा कि भाजपा का दलित प्रेम सिर्फ दिखावा है क्योंकि यह पार्टी दलित समुदाय से जुड़े असली मुद्दों पर आंख मूंद लेती है।
गुजरात के दलित समुदाय के 200 से अधिक लोगों ने विजयादशमी के मौके पर बौद्ध संगठनों द्वारा आयोजित तीन अलग-अलग कार्यक्रमों में बौद्ध धर्म अपनाया। वहीं राज्य के 90 अन्य लोगों ने नागपुर में धर्मांतरण किया और इस तरह कुल 300 से अधिक दलितों ने बौद्ध धर्म को ग्रहण किया।
दलित नेता एवं उत्तर पश्चिम दिल्ली से भाजपा सांसद उदित राज ने निजी क्षेत्र और पदोन्नति में आरक्षण के लिए कानून बनाने की मांग करते हुए अनुसूचित जाति-जनजाति संगठनों के अखिल भारतीय परिसंघ की ओर से देशव्यापी आंदोलन चलाने और 28 नवंबर को दिल्ली के रामलीला मैदान में रैली करने का ऐलान किया।