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पश्चिम बंगाल: छठे चरण के 20 फीसदी प्रत्‍याशियों पर मुकदमा

पश्चिम बंगाल: छठे चरण के 20 फीसदी प्रत्‍याशियों पर मुकदमा

पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव के पांच मई को होने वाले छठवें चरण के उम्‍मीदवार भी आपराधिक मामलों में संलिप्‍त हैं। कईयों पर आपराधिक मामला दर्ज है। प्रत्‍याशियों ने अपने शपथ पत्र में इसका बकायदा उल्‍लेख किया है।
बंगाल में हिंसा के बीच दूसरे चरण के वोट

बंगाल में हिंसा के बीच दूसरे चरण के वोट

चुनाव के दौरान हिंसा और बाहुबल के खुलकर इस्तेमाल की अपनी पुरानी पहचान बंगाल ने एक बार फिर दिखा दी है। दूसरे चरण के मतदान के दौरान विधानसभा की सभी 31 विधानसभा इलाकों में हिंसा हुई है। कई जगह तो उम्मीदवारों को जमकर पीटा गया। चुनाव आयोग के पास लगभग दो हजार शिकायतें पहुंची हैं। मतदान केन्द्रों पर केन्द्रीय सुरक्षा बल के जवान तैनात हैं, लेकिन बूथ से कुछ मीटर दूर ही राजनीतिक पार्टियों के कार्यकर्ता एक-दूसरे को और वोटरों को धमकाते रहे।
बिहार से सबक, असम-बंगाल में नहीं होंगे भड़काऊ विज्ञापन

बिहार से सबक, असम-बंगाल में नहीं होंगे भड़काऊ विज्ञापन

चुनाव आयोग ने शनिवार को निर्देश दिया कि असम और पश्चिम बंगाल में तीन और चार अप्रैल को बिना मंजूरी के किसी भी अखबार में विज्ञापन प्रकाशित नहीं होगा। भाजपा द्वारा बिहार चुनावों के दौरान विवादास्पद विज्ञापन जारी होने के परिप्रेक्ष्य में यह कदम उठाया गया है। असम और पश्चिम बंगाल में प्रथम चरण का चुनाव चार अप्रैल को होगा।
बंगाल व असम चुनावः हिस्ट्रीशीटरों की गतिविधियों पर प्रशासन ढीला

बंगाल व असम चुनावः हिस्ट्रीशीटरों की गतिविधियों पर प्रशासन ढीला

तमाम प्रशासनिक उपायों और सुरक्षा चौकसी के बावजूद बंगाल और असम में विधानसभा चुनाव के दौरान हिंसा और बोगस वोटिंग की आशंका बनी हुई है। खासकर, बंगाल को लेकर सिरदर्द ज्यादा है। बंगाल में बिहार, झारखंड, उड़ीसा और पड़ोसी देश नेपाल और बांग्लादेश से असामाजिक तत्वों को राजनीतिक पार्टियों द्वारा बुलाए जाने की खबरें आई हैं। बंगाल के गांवों में राजनीतिक हिंसा बढ़ने लगी है।
बंगाल के बिजली नियामक आयोग के चेयरमैन की नियुक्ति पर भी गरमा सकती है राजनीति

बंगाल के बिजली नियामक आयोग के चेयरमैन की नियुक्ति पर भी गरमा सकती है राजनीति

आरएनसेन की इस पद पर हुई नियुक्ति में नियमों की अनदेखी और बिजली चार्ज में गड़बड़ी बन सकता है ममता के लिए सिरदर्द
बंगाल में कम समय देंगे मोदी और शाह

बंगाल में कम समय देंगे मोदी और शाह

असम से लौटते हुए खड़गपुर में 27 मार्च को जनसभा और फिर 17 अप्रैल को कोलकाता में एक केन्द्रीय सभा। बंगाल की 294 विधानसभा सीटों को सिर्फ दो जनसभाओं के जरिए संबोधित करेंगे भाजपा के स्टार प्रचारक नरेन्द्र मोदी। जबकि, लोकसभा चुनाव के दौरान बंगाल में नरेन्द्र मोदी की सात जनसभाएं कराए गई थीं। इस बार मोदी के शेड्यूल को बंगाल में भाजपा की घटती रुचि का एक और संकेतक माना जा रहा है। कुछ समय पहले नरेन्द्र मोदी और अमित शाह की दर्जन भर जनसभाएं कराने की तैयारी चल रही थी।
भाजपा केरल, असम और बंगाल में आईटी विशेषज्ञों के जरिए करेगी उग्र प्रचार

भाजपा केरल, असम और बंगाल में आईटी विशेषज्ञों के जरिए करेगी उग्र प्रचार

पांच राज्यों में आगामी चुनावों के लिए भाजपा तैयार कर रही सोशल मीडिया की एक मजबूत टीम, केरल में पहुंच रहे मलयाली मूल के आईटी प्रोफेशनलस
धर्म,बीफ या जाति नहीं, विकास होगा बंगाल में हमारा चुनावी मुद्दाः कैलाश विजयवर्गी

धर्म,बीफ या जाति नहीं, विकास होगा बंगाल में हमारा चुनावी मुद्दाः कैलाश विजयवर्गी

भाजपा के राष्ट्रीय नेतृत्व में अपनी एक अलग पहचान बना चुके मध्य प्रदेश के कैलाश विजयवर्गीय हरियाणा के बाद पश्चिम बंगाल में जीत की रणनीति बनाने में मशगूल है। भाजपा के महासचिव कैलाश विजयवर्गीय के पास पश्चिम बंगाल की जिम्मेदारी है। स्वाभाविक ही है कि उनके पास पश्चिम बंगाल से चुनाव लड़ने के इच्छुक उम्मीदवार टिकट की आस लगाए उनके पास पहुंचने लगे हैं। पश्चिम बंगाल में उनकी रणनीति पर आउटलुक की ब्यूरो प्रमुख भाषा सिंह ने उनसे विस्तृत बातचीत की। पेश हैं अंश-
असम, बंगाल में नीतीश रणनीति

असम, बंगाल में नीतीश रणनीति

महागठबंधन बनाकर भाजपा को पटखनी देने वाले मुख्य‍मंत्री नीतीश कुमार अगले साल असम और पश्चिम बंगाल में होने वाले विधानसभा चुनाव में बिहार जैसा खाका खींचने में जुट गए हैं। इसके लिए नीतीश कुमार स्वयं कांग्रेस के अलावा इन राज्यों के क्षेत्रीय दल के नेताओं के संपर्क में हैं।
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