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चर्चाः झंडे की शान में जुड़ी आन | आलोक मेहता

चर्चाः झंडे की शान में जुड़ी आन | आलोक मेहता

तिरंगे की शान रखने के लिए हर भारतीय नागरिक सब कुछ न्यौछावर करने के लिए तैयार रहता है। हिमालय की सर्वोच्च चोटी से समुद्र के सुदूर क्षेत्र और अंतरिक्ष तक भारतीयों ने गौरव के साथ तिरंगा फहरा कर सैल्यूट किया है। इसलिए मानव संसाधन मंत्रालय द्वारा केंद्रीय विश्वविद्यालयों की इमारतों पर तिरंगा ध्वज लहराने की अनिवार्यता के निर्देश का स्वागत ही होना चाहिए।
सूचना आयुक्त पद की दौड़ से बस्सी बाहर

सूचना आयुक्त पद की दौड़ से बस्सी बाहर

दिल्ली पुलिस प्रमुख बी एस बस्सी को केंद्रीय सूचना आयोग में सूचना आयुक्त के पद के लिए दावेदारों की सूची से आज बाहर कर दिया गया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता वाली चयन समिति ने आज इस पद के लिए तीन नामों को मंजूरी दी। जेएनयू विवाद से सही तरीके से नहीं निपटने को लेकर बस्सी लोगों के निशाने पर हैं।
सभी केंद्रीय विश्वविद्याल में रोजाना तिरंगा फहराना हुआ अनिवार्य

सभी केंद्रीय विश्वविद्याल में रोजाना तिरंगा फहराना हुआ अनिवार्य

मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने एक अहम फैसले में सभी केन्द्रीय विश्वविद्यालय को अपने परिसर में रोजाना तिरंगा फहराने के आदेश दिए हैं। गुरुवार को मानव संसाधन विकास मंत्री स्मृति ईरानी से साथ हुई केन्द्रीय विश्वविद्यालयों के कुलपतियों की बैठक में देश की एकता और अखंडता को मजबूत रखने के लिए यह फैसला लिया गया।
कन्हैया को लेकर सभी छात्र संगठन लामबंद, आंदोलन की तैयारी

कन्हैया को लेकर सभी छात्र संगठन लामबंद, आंदोलन की तैयारी

केंद्रीय जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) के छात्र संघ अध्यक्ष कन्हैया कुमार की रिहाई के लिए देश भर के छात्र संगठन लामबंद हो गए हैं। आज वामपंथी दलों के छात्र संगठनों के अलावा नेशनल स्टूडेंट्स यूनियन ऑफ इंडिया (एनएसयूआई, कांग्रेस का छात्रसंगठन), जदयू, आरजेडी और स्टूडेंट्स फ्रंट फॉर स्वराज जैसे छात्र संगठन एक मंच पर आए। इनके नेताओं ने ऐलान किया कि कन्हैया को बिना शर्त रिहा किया जाए अन्यथा सरकार देशव्यापी छात्र आंदोलन के लिए तैयार रहे।
बी.एस. बस्सी का नाम सूचना आयुक्त बनने के दावेदारों में शामिल

बी.एस. बस्सी का नाम सूचना आयुक्त बनने के दावेदारों में शामिल

दिल्ली पुलिस आयुक्त भीम सैन बस्सी केंद्रीय सूचना आयोग में सूचना आयुक्त के पद के दावेदारों में शामिल हैं। पद के लिए तीन लोगों का नाम अंतिम रुप से चुना गया है जिनमें बस्सी का नाम भी शामिल है।
दुनिया के 400 शिक्षण संस्थानों से जेएनयू को समर्थन

दुनिया के 400 शिक्षण संस्थानों से जेएनयू को समर्थन

अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (एएमयू) के छात्रों ने दिल्ली के जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) परिसर में पुलिस की कथित ज्यादती के विरोध में आज यहां प्रदर्शन किया। आने वाली 18 तारीख को देश भर के विश्वविद्यालय में हड़ताल का आह्वान किया गया है। इसके अलावा दुनिया भर से 400 शिक्षण संस्थानों ने जेएनयू के हक में समर्थन दिया है।
हड़ताल में शामिल हुए जेएनयू शिक्षक, रोज लेंगे राष्ट्रवाद पर क्लास

हड़ताल में शामिल हुए जेएनयू शिक्षक, रोज लेंगे राष्ट्रवाद पर क्लास

देशद्रोह के मामले में जेएनयू छात्र संघ की गिरफ्तारी के विरोध में विश्वविद्यालय के छात्रों द्वारा बुलाई गई हड़ताल में विश्वविद्यालय के शिक्षक भी शामिल हो गए हैं। शिक्षकों ने कहा कि वे विश्वविद्यालय लॉन में रोजाना राष्ट्रवाद पर कक्षाएं लेंगे।
प्रेस क्लब नारेबाजी: गिलानी को दो दिन की पुलिस हिरासत में भेजा

प्रेस क्लब नारेबाजी: गिलानी को दो दिन की पुलिस हिरासत में भेजा

दिल्ली विश्वविद्यालय के पूर्व लेक्चरर एसएआर गिलानी को मंगलवार की सुबह देशद्रोह और अन्य आरोपों के तहत दिल्ली पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। गिरफ्तारी के बाद गिलानी को दिल्ली की एक अदालत में पेश किया गया जहां से मजिस्ट्रेट ने उन्हें दो दिन की पुलिस हिरासत में भेज दिया। गिलानी की गिरफ्तारी पिछले दिनों प्रेस क्लब में आयोजित उस समारोह के संबंध में की गई है जिसमें भारत विरोधी नारे लगाए गए थे।
जेएनयू छात्र हड़ताल पर, कन्हैया की अदालत में पेशी आज

जेएनयू छात्र हड़ताल पर, कन्हैया की अदालत में पेशी आज

जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय छात्रसंघ के अध्यक्ष कन्हैया कुमार की देशद्रोह के आरोप में की गई गिरफ्तारी के विरोध में विश्वविद्यालय के छात्र हड़ताल पर चले गए हैं। छात्रों का कहना है कि कन्हैया की रिहाई होने तक उनकी हड़ताल जारी रहेगी।
'हम बाइचांस इंडियन नहीं बल्कि बाइच्वाइस इंडियन हैं'

'हम बाइचांस इंडियन नहीं बल्कि बाइच्वाइस इंडियन हैं'

जमीयत उलेमा ए हिंद के राष्ट्रीय महासचिव मौलाना सैयद महमूद मदनी ने कहा है कि मुसलमान बाइचांस इंडियन नहीं बल्कि बाइच्वाइस इंडियन हैं और वतन से प्यार था इसलिए वे भारत में रुके। मदनी ने यह बातें मेरठ में आयोजित हुसूले इंसाफ सम्मेलन में बोलीं।