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प्रधानमंत्री की सुरक्षा होगी कड़ी, अस्थाई ढांचे के लिए फायर से लेनी होगी मंजूरी

प्रधानमंत्री की सुरक्षा होगी कड़ी, अस्थाई ढांचे के लिए फायर से लेनी होगी मंजूरी

प्रधानमंत्री की सुरक्षा में कोई चूक न हो, इसके लिए सुरक्षा कड़ी कर दी गई है। किसी भी सार्वजनिक बैठकों में स्टेज, तंबू, मंच या किसी अस्थाई ढांचे के इस्तेमाल से पहले उसकी गहन जांच होगी। फायर विभाग से हरी झंडी मिलने के बाद ही इन्हें इस्तेमाल किया जा सकेगा। इसके लिए सरकार ने प्रधानमंत्री की सुरक्षा को प्रोटोकॉल देने वाली ब्लू बुक में संसोधन कर दिया है।
फायर ब्रांड योगी आदित्यनाथ की खास बातें

फायर ब्रांड योगी आदित्यनाथ की खास बातें

योगी आदित्यनाथ के उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री बनने के साथ ही कौन होगा उत्तर प्रदेश का मुख्यमंत्री वाक्य का रोमांच खत्म हो गया। घोर हिंदुत्ववादी छवि वाले आदित्यनाथ को मुख्यमंत्री बना कर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने जताने की कोशिश की है कि अब देश में जातीय गणित के दिन लद गए हैं।
उपहार सिनेमा कांड: हादसे के बाद न्याय के लिए जारी लड़ाई पर किताब

उपहार सिनेमा कांड: हादसे के बाद न्याय के लिए जारी लड़ाई पर किताब

दिल्ली के उपहार सिनेमा हादसे के 59 पीड़ितों में से दो के माता-पिता ने इस सदमे तथा न्याय के लिए अपनी लंबी लड़ाई पर एक किताब लिखी है। ट्रायल बाय फायर का प्रकाशन पेंगुइन रेंडम हाउस इंडिया ने किया है।
फोर्ड की पूर्णतया स्वचालित कार 2021 तक

फोर्ड की पूर्णतया स्वचालित कार 2021 तक

कार निर्माता फोर्ड मोटर कंपनी की योजना अगले पांच सालों में पूर्णतया ड्राइवर रहित कार को सड़क पर उतारने की है। पहले इस कार को वाणिज्यिक तौर पर किराये पर सवारियों को लाने ले जाने या साझी यात्रा के लिए उपयोग किया जाएगा बाद में इसकी बिक्री ग्राहकों को की जाएगी।
कभी समर्थकों से घिरी रहने वाली उमा भारती आज पड़ गईं अकेली

कभी समर्थकों से घिरी रहने वाली उमा भारती आज पड़ गईं अकेली

कभी भाजपा की फायर ब्रांड नेता रहीं केंद्रीय मंत्री उमा भारती हमेशा भीड़ से घिरी रहती थीं। जहां जातीं समर्थकों का हुजूम उनके स्वागत के लिए उमड़ पड़ता था। लेकिन आज स्थिति बिल्कुल उलट गई है। उमा भारती अब हर जगह अकेली दिखाई देती हैं। केंद्रीय मंत्री होने के बावजूद आगे पीछे रहने वाले समर्थक नदारद हैं। और तो और देश के किसी हिस्से में पहुंचने पर स्वागत के लिए समर्थकों का जो हुजूम उमड़ पड़ता था आज वह भी कहीं दिखाई नहीं देता।
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