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तेलंगाना: 8,000 न्यायिक कर्मी हड़ताल पर, अदालतों में काम ठप

तेलंगाना: 8,000 न्यायिक कर्मी हड़ताल पर, अदालतों में काम ठप

तेलंगाना के आंदोलनरत न्यायाधीशों के प्रति एकजुटता दिखाते हुए राज्य की विभिन्न अदालतों और न्यायिक विभागों में काम करने वाले करीब 8,000 कर्मी शुक्रवार से बेमियादी हड़ताल पर चले गए। इससे राज्य की अदालतों का कामकाज ठप पड़ गया और मुकदमों में उलझे लोगों को खासी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।
तीन बार तलाक बोल कर संबंध तोड़ने को संविधान की कसौटी पर कसा जाए : न्‍यायालय

तीन बार तलाक बोल कर संबंध तोड़ने को संविधान की कसौटी पर कसा जाए : न्‍यायालय

उच्चतम न्यायालय ने बुधवार को कहा कि मुस्लिम समुदाय में तीन बार तलाक बोल कर वैवाहिक संबंध तोड़ना एक बहुत महत्वपूर्ण विषय है, जो लोगों के एक बड़े तबके को प्रभावित करता है। इसे संवैधानिक ढांचे की कसौटी पर कसे जाने की जरूरत है। न्यायालय ने पसर्नल लाॅ के मुद्दे की जांच करने पर सहमति जताते हुए यह विचार व्‍यक्‍त किए।
तेलंगाना: हाईकोर्ट ने नौ और न्यायाधीशों को किया निलंबित

तेलंगाना: हाईकोर्ट ने नौ और न्यायाधीशों को किया निलंबित

आंध्र प्रदेश और तेलंगाना के बीच न्यायाधीशों के अस्थायी आवंटन के खिलाफ आंदोलन और तेज हो गया है। हैदराबाद हाईकोर्ट ने मंगलवार को अनुशासनहीनता के आधार पर निचली अदालत के नौ और न्यायाधीशों को निलंबित कर दिया जिसके विरोध में राज्य के 200 न्यायिक अधिकारी 15 दिन के लिए सामूहिक अवकाश पर चले गए।
पहली बार किसी पीएम ने निजी चैनल को दिया इंटरव्यूह

पहली बार किसी पीएम ने निजी चैनल को दिया इंटरव्यूह

पहली बार देश के किसी प्रधानमंत्री ने निजी टेलीविजन चैनल को अपना साक्षात्कार दिया है। प्रधानमंत्री बनने के बाद नरेंद्र मोदी का निजी टेलीविजन चैनल को दिया गया पहला साक्षात्कार टाइम्स नाउ पर प्रसारित होगा।
पेनाल्‍टी शूट आउट में भारत तीन बार चूका, ऑस्‍ट्रेलिया 14 वीं बार चैंपियन बना

पेनाल्‍टी शूट आउट में भारत तीन बार चूका, ऑस्‍ट्रेलिया 14 वीं बार चैंपियन बना

चैंपियंस ट्राफी के फाइनल में ऑस्ट्रेलिया ने भारत को 3-1 से हराकर 14वीं बार इस प्रतियोगिता को जीतने का गाैरव हासिल कर लिया है। इस हार के साथ ही भारत का पहली बार चैंपियंस ट्रॉफी जीतने का सपना चूर हो गया। खिताबी जीत का फैसला करने वाले शूटआउट में भारत के तीन बार चूकने के कारण उसके खाते में रजत पदक आया। टीम इंडिया के प्रदर्शन पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ट्वीट कर टीम को बधाई देते हुए कहा कि उन्हें और देश को टीम पर गर्व है।
इस बार आखिरी गेंद पर चौका नहीं लगा सके धोनी

इस बार आखिरी गेंद पर चौका नहीं लगा सके धोनी

वन डे श्रृंखला में क्लीन स्वीप करने वाली भारतीय क्रिकेट टीम इस प्रदर्शन को पहले टी20 अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट मैच में नहीं दोहरा सकी और जिम्बाब्वे ने उसे दो रन से हराकर अप्रत्याशित जीत दर्ज की। एल्टन चिगुंबुरा के 26 गेंद में नाबाद 54 रन की मदद से जिम्बाब्वे ने छह विकेट पर 170 रन बनाए। जवाब में भारत छह विकेट पर 168 रन ही बना सका। तेज गेंदबाज नेविले मेडजिवा ने बेहतरीन आखिरी ओवर डालकर मेजबान को तीन मैचों की श्रृंखला में 1-0 से बढ़त दिला दी।
मानवाधिकार विशेषज्ञों की मांग, एफसीआरए को निरस्त करे भारत

मानवाधिकार विशेषज्ञों की मांग, एफसीआरए को निरस्त करे भारत

संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार विशेषज्ञों ने भारत से उस कानून को निरस्त करने का आह्वान किया है, जिसमें गैर-सरकारी संगठनों को मिलने वाले विदेशी अनुदान को रोकने के प्रावधान हैं।
भारत 36 साल में पहली बार चैम्पियंस ट्राफी फाइनल में

भारत 36 साल में पहली बार चैम्पियंस ट्राफी फाइनल में

भारतीय पुरूष हॉकी टीम ने इतिहास रचने की ओर कदम बढाते हुए 36वीं हीरो चैम्पियंस ट्राफी हॉकी के फाइनल में प्रवेश कर लिया जहां उसका सामना आस्ट्रेलिया से होगा।
अदालत की नाफरमानी

अदालत की नाफरमानी

कुछ समय पहले दिल्ली उच्च न्यायालय की पार्किंग में काम करने वाले लड़के की आंतों में इन्फेक्शन हुआ। एक नामी अस्पताल में उसका इलाज चला। उच्च न्यायालय बार एसोसिएशन ने लड़के को प्रमाणपत्र दिया कि गरीब होने के कारण उसका नि:शुल्क इलाज किया जाए। कुछ समय तक लड़के का इलाज चला लेकिन पैसे न होने के चलते अस्पताल ने इलाज बीच में रोक दिया। लड़के की मौत हो गई। अस्पताल ने बिना फीस अदा किए शव देने से इनकार कर दिया। उच्च न्यायालय बार एसोसिएशन के कुछ वकीलों ने अस्पताल के 5 लाख 70 हजार रुपये अदा किए और अस्पताल से शव लेकर उसके परिजनों के सुपुर्द किया। दिल्ली उच्च न्यायालय बार एसोसिएशन पूर्व अध्यक्ष, यूरोपियन यूनियन में प्रिंसीपल काउंसिल और भारत के पूर्व अतिरिक्त सोलिसिटर जनरल एडवोकेट अमरजीत सिंह चंदोक इस घटना का जिक्र करते हुए पूछते हैं, 'जब दिल्ली में सर्वोच्च न्यायालय और उच्च न्यायालय के आदेशों के यह हाल है तो क्या देश के दूसरे कोने के हालात बताने की जरूरत है?