पेरिस हमले के बाद अमेरिका पर भी आतंकी हमले का भय दिखाकर अब वहां मुस्लिमों पर कड़ी निगरानी की बातें जोर पकड़ने लगी हैं। रिपब्लिकन पार्टी की ओर से राष्ट्रपति पद की दावेदारी की दौड़ में आगे चल रहे डोनाल्ड ट्रंप ने सीधे-सीधे यह कहा है कि यदि वे राष्ट्रपति चुने गए तो देश को आतंकवाद से बचाने के लिए अमेरिका में मुस्लिमों के डेटाबेस की व्यवस्था को निश्चित तौर पर लागू करेंगे।
मुस्लिमों को ऑस्ट्रेलिया में प्रतिनिधित्व उपलब्ध कराने के उद्देश्य से पश्चिमी सिडनी में एक नई राजनीतिक पार्टी का गठन किया गया है। इस पार्टी को दि ऑस्ट्रेलियन मुस्लिम पार्टी नाम दिया गया है।
राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी फलस्तीन की अल-कुद्स यूनिवर्सिटी को भारत की तरफ से आईटी उपकरण भेंट करने वाले हैं लेकिन इस्राइल भारतीय तोहफे में शामिल चार संचार प्रणालियों को विश्वविद्यालय में ले जाने की इजाजत शायद ही दे जिससे विवाद पैदा हो गया है।
हाल ही में दिल्ली से सटे दादरी में हुई हिंसा समेत देश भर में अल्पसंख्यकों और दलितों पर हो रहे हमलों के खिलाफ मुस्लिम और नागरिक अधिकार संगठनों ने एकजुट होकर कहा ‘फासीवादी ताकतों के खिलाफ मरते-मरते भी लड़ाई जारी रखेंगे लेकिन इंशा अल्लाह मुल्क नहीं बंटने देंगे।’ मौका था जंतर-मंतर पर सांप्रदायिक और जातिगत हमलों के खिलाफ आयोजित प्रदर्शन का। गौरतलब है कि बीते दिनों दादरी में अखलाक अहमद नामक व्यक्ति के घर में गोमांस होने की अफवाह फैलाई गई, जिसके बाद हिंदू कट्टरपंथियों की भीड़ ने पीट-पीट कर अखलाक को मार दिया और उनके बेटे दानिश को बुरी तरह से घायल कर दिया।
इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग ने भी आज देशभर में मुसलमानों समेत कमजोर तबकों पर हो रहे हमलों के खिलाफ दिल्ली और नागपुर में प्रदर्शन किया। गौरतलब है कि बीते दिनों दादरी के गांव बिसहड़ा में गोमांस खाने और रखने की अफवाह के चलते 50 वर्षीय अखलाक अहमद की गांव के चरमपंथियों ने हत्या कर दी थी जबकि अखलाक का बेटा दानिश गंभीर रूप से घायल हो गया।
उत्तर प्रदेश में गोमांस खाने की अफवाह से एक व्यक्ति की पीट पीट कर हत्या किए जाने की निंदा करते हुए वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा है कि इस प्रकार की घटनाएं देश की छवि खराब करती हैं।
दादरी कांड से गुस्साए और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से इस मसले पर अपनी चुप्पी तोड़ने को कह रहे मुस्लिम समुदाय के लोग आज जंतर-मंतर पर प्रदर्शन करेंगे। प्रदर्शन में न केवल दादरी कांड बल्कि पूरे देश में सांप्रदायिक हिंसा में मारे जा रहे मुसलमानों के लिए न्याय की मांग की जाएगी। गौरतलब है कि बीते दिनों दादरी के गांव बिसहड़ा में 50 वर्षीय अखलाक अहमद के घर में गोमांस होने की अफवाह फैलाई गई। जिसके बाद उग्र हिंदू चरमपंथियों की भीड़ ने अखलाक की पीट-पीट कर हत्या कर दी।
सुब्रह़मण्यम स्वामी को जवाहरलाल नेहरू विश्वविद़यालय का कुलपति बनाने की चर्चा इतनी तेजी से शुरू हुई कि प्रायः हर किसी ने इसे सच मान लिया। अकादमिक दुनिया कान लगाकर आहट सुनने लगी। इस पर मीडिया माध्यमों से लेकर बौद्धिक तबके में विमर्श का दौर शुरू हो गया और सुब्रह़मण्यम स्वामी की टिप्पणियां भी सामने आ गई। उन्होंने अपनी योजनाएं भी बता दीं कि वे जेएनयू में किस प्रकार नक्सलियों और ड्रग्स के शिकार लोगों को काबू में करेंगे। यह अपेक्षा भी जता दी कि सरकार उन्हें खुली छूट दे तो वे काम करने को तैयार हैं।
नीतीश कुमार के नेतृत्व में बने महागठबंधन ने अपने 242 उम्मीदवारों के नामों का ऐलान कर दिया है। आरजेडी प्रमुख लालू प्रसाद यादव ने दोनों बेटों को चुनावी मैदान में उतारा है। उनका बड़ा बेटा तेज प्रताप महुआ से और छोटा बेटे तेजस्वी राघोपुर से चुनाव लड़ेगा। गठबंधन ने सबसे ज्यादा 134 ओबीसी उम्मीदारों को टिकट दिया है। इसके बाद 40 एससी-एसटी, 39 सामान्य और 33 मुस्लिम उम्मीदवारों को आजमाया जा रहा है। मिली जानकारी के अनुसार, 243 में से 242 सीटों पर महागठबंधन के उम्मीदवारों को ऐलान हो गया है और लेकिन एक सीट पर अभी तक सहमति नहीं बन पाई है।