Advertisement

लॉकडाउन बढ़ाने पर पी चिदंबरम ने कहा- धन है, भोजन है लेकिन सरकार वह देगी नहीं

'लॉकडाउन से परे, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के राष्ट्र के चौथे संबोधन में "नया" क्या था?' यह सवाल पूर्व...
लॉकडाउन बढ़ाने पर पी चिदंबरम ने कहा-  धन है, भोजन है लेकिन सरकार वह देगी नहीं

'लॉकडाउन से परे, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के राष्ट्र के चौथे संबोधन में "नया" क्या था?' यह सवाल पूर्व गृह मंत्री और वरिष्ठ कांग्रेस नेता पी चिदंबरम ने मंगलवार को प्रधानमंत्री के भाषण के समापन के कुछ मिनट बाद ट्वीट कर पूछा।

पूर्व केंद्रीय मंत्री पी चिदंबरम ने ट्वीट किया, 'गरीबों को 21+19=40 दिन के लिए अपना इंतजाम खुद करने के लिए छोड़ दिया गया। धन है, भोजन है लेकिन सरकार वह देगी नहीं। रोओ, मेरे प्यारे देश।' एक अन्‍य ट्वीट में चिदंबरम ने कहा, 'मुख्‍यमंत्रियों की धनराशि की मांग पर कोई प्रतिक्रिया नहीं आई। 25 मार्च के 'कंजूसी भरे' पैकेज में एक रुपया भी नहीं जोड़ा गया। चिदंबरम ने कहा कि यह स्पष्ट है कि गरीबों की आजीविका, उनका अस्तित्व सरकार की प्राथमिकताओं में नहीं है।

उन्होंने कहा कि रघुराम राजन से लेकर ज्यां द्रेज, प्रभात पटनायक, अभिजीत बनर्जी तक की सलाहों पर ध्‍यान नहीं दिया गया। हालांकि चिदंबरम ने लॉकडाउन को आगे बढ़ाने के केंद्र सरकार के फैसले का समर्थन किया।

राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन को 3 मई तक के लिए बढ़ा दिया

इससे पहले, प्रधानमंत्री मोदी ने कोरोना वायरस महामारी पर राष्ट्र को दिए अपने चौथे संबोधन में राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन को 3 मई तक के लिए बढ़ा दिया है, क्योंकि भारत अभी भी कोविड-19 के प्रसार से लड़ रहा है।

बुधवार को सरकार इस बारे में सरकार विस्‍तृत गाइड लाइन जारी करगी

कोरोना वायरस के खिलाफ सख्‍ती रखते हुए अपने शहरों/क्षेत्रों में हॉटस्‍पॉट (कोराना वायरस से सर्वाधिक प्रभावित क्षेत्र) नहीं बनने देंगे, वहां 20 अप्रैल से जरूरी गतिविधियों की इजाजत दी जाएगी। उन्‍होंने कहा कि कल यानी बुधवार को सरकार इस बारे में सरकार विस्‍तृत गाइड लाइन जारी करगी। उन्‍होंने स्‍पष्‍ट किया कि 20 अप्रैल को सीमित छूट का ध्‍यान गरीबों को ध्‍यान में रखते हुए किया गया है। हालांकि, पिछले महीने लॉकडाउन की पहली घोषणा से बड़े पैमाने पर मजदूरों के पलायन के बाद, कुछ विपक्षी दल मांग कर रहे हैं, दिहाड़ी मजदूरों, निर्माण श्रमिकों और किसानों के लिए किसी पैकेज की घोषणा नहीं की गई।

अब आप हिंदी आउटलुक अपने मोबाइल पर भी पढ़ सकते हैं। डाउनलोड करें आउटलुक हिंदी एप गूगल प्ले स्टोर या एपल स्टोर से
Advertisement
Advertisement
Advertisement