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प्रियंका से मिले सिद्धू, राहुल का अब भी इंतजार, कैप्टन की बढ़ सकती हैं मुश्किलें!

पंजाब कांग्रेस में जारी कलह खत्म होने का नाम नहीं ले रही है। पंजाब के मुख्यमंत्री और कांग्रेसी नेता...
प्रियंका से मिले सिद्धू, राहुल का अब भी इंतजार, कैप्टन की बढ़ सकती हैं मुश्किलें!

पंजाब कांग्रेस में जारी कलह खत्म होने का नाम नहीं ले रही है। पंजाब के मुख्यमंत्री और कांग्रेसी नेता कैप्टन अमरिंदर सिंह के समान रूतबा हासिल करने की जुगत में लगे विधायक नवजोत सिंह सिद्धू आज यानी बुधवार को दिल्ली में प्रियंका गांधी से मुलाकात की।  नवजोत सिंह सिद्धू ट्वीट कर इसकी जानकारी दी। इससे पहले, नवजोत सिंह सिद्धू के राहुल गांधी से मुलाकात करने की अटकलें लगाईं जा रहीं थीं। अटकलों के बीच प्रियंका गांधी वाड्रा अपने भाई से मिलने उनके आवास पर पहुंची थीं।

बुधवार को नवजोत सिंह सिद्धू ने प्रियंका गांधी वाड्रा के साथ तस्वीर साझा करते हुए लिखा, 'प्रियंका गांधी वाड्रा जी के साथ लंबी बैठक हुई''। बता दें कि मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह और नवजोत सिंह सिद्धू के बीच लंबे समय से विवाद चल रहा है।

इससे एक दिन पहले नवजोत सिंह सिद्धू के राहुल से मिलने की खबरों ने किरकिरी करवा दी थी। दरअसल, सिद्धू के करीबियों ने सोमवार को मीडिया में यह खबर फैलाई कि नवजोत सिंह सिद्धू को प्रियंका गांधी और राहुल गांधी ने मिलने के लिए बुलाया है। इसके बाद राहुल गांधी ने मंगलवार को नई दिल्ली में मीडिया से बातचीत के दौरान साफ कर दिया कि उन्होंने सिद्धू को मिलने के लिए नहीं बुलाया है।

पंजाब कांग्रेस के अंदर की कलह पर मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह आलाकमान की तीन सदस्यीय समिति से दूसरी बार मिलने गए थे। विवाद का मुख्य कारण सिद्धू द्वारा कैप्टन के कामकाज पर सवाल उठाना है। माना जा रहा था कि आलाकमान दोनों को बुलाकर विवाद का निपटारा करेगा, लेकिन हुआ उलट। केवल कैप्टन को ही बुलाया गया और उनकी बात सुनी गई।

सिद्धू को आलाकमान से जब कोई न्योता नहीं मिला, तो सोमवार को उनकी राहुल व प्रियंका से मुलाकात की खबर फैला दी गई। यह ऐसा मौका भी था, जब आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल चंडीगढ़ में थे। सिद्धू के आम आदमी पार्टी में शामिल होने व मुख्यमंत्री का चेहरा बनाए जाने की खबरें कई दिनों से चर्चा में हैं।

कांग्रेस विधायक नवजोत सिंह सिद्धू ने वर्ष 2019 में पंजाब कैबिनेट से इस्तीफा दे दिया था। दरअसल, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने सिद्धू से स्थानीय निकाय विभाग छीन लिया था और उन्हें बिजली विभाग सौंपा था। इससे खफा सिद्धू ने दूसरे विभाग का कामकाज नहीं संभाला और बाद में अपना इस्तीफा भेज दिया था। मौजूदा समय में सिद्धू कोटकपूरा गोलीकांड और बेअदबी की घटना को लेकर पंजाब सरकार पर हमलावर हैं।

राहुल गांधी पंजाब में पार्टी के प्रदेशाध्यक्ष सुनील जाखड़ और राज्यसभा सांसद प्रताप सिंह बाजवा से भी मुलाकात कर चुके हैं। इस दौरान सुनील जाखड़ ने कहा था कि मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह को कुछ गलत लोग सलाह दे रहे हैं। वहीं 25 जून को शिक्षा मंत्री विजय इंदर सिंगला, स्वास्थ्य मंत्री बलबीर सिंह सिद्धू, मंत्री ब्रह्म मोहिंद्रा, राज्यसभा सांसद शमशेर सिंह दूलो, विधायक लखवीर सिंह से भी राहुल गांधी ने मुलाकात कर पंजाब में पार्टी की स्थिति के बारे में जानकारी हासिल की।

 

बता दें कि देश के 5 राज्यों में अगले साल विधानसभा चुनाव होने हैं। इन राज्यों में पंजाब भी शामिल है। पार्टी पंजाब कांग्रेस में चल रही किसी भी तरह की गुटबाजी को अभी बाहर नहीं आने देना चाहती है। हाल ही में सिद्धू ने बरगारी मामले और कोटकपुरा फायरिंग की जांच में ढ़िलाई बरतने का आरोप लगाते हुए कैप्टन सरकार पर निशाना साधा था।

 

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