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मध्य प्रदेश में EVM सुरक्षा में लापरवाही, कांग्रेस की शिकायत के बाद नायब तहसीलदार सस्पेंड

मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव के लिए मतदान 28 नवंबर को समाप्त हो चुका है। अब यहां ईवीएम की सुरक्षा को लेकर...
मध्य प्रदेश में EVM सुरक्षा में लापरवाही, कांग्रेस की शिकायत के बाद नायब तहसीलदार सस्पेंड

मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव के लिए मतदान 28 नवंबर को समाप्त हो चुका है। अब यहां ईवीएम की सुरक्षा को लेकर एक नया विवाद खड़ा हो गया है। राजधानी भोपाल में ईवीम स्ट्रॉंगरुम में जो सीसीटीवी कैमरे लगाए गए थे वो करीब एक घंटे के लिए खराब हो गए थे। बिजली नहीं होने के कारण वहां पर करीब एक घंटे के लिए कैमरे ने काम करना बंद कर दिया था। इसी घटना के बाद ईवीएम के साथ छेड़छाड़ को लेकर बवाल बढ़ता दिखाई दे रहा है।

चुनाव आयोग का कहना है कि 28 नवंबर को मतदान खत्म होने के तुरंत बाद ईवीएम मशीनों को सागर ले जाना चाहिए था लेकिन अधिकारियों की वजह से इसमें दो दिन की देरी हुई जिसके बाद ये विवाद खड़ा हो गया है। भोपाल कलेक्टर की तरफ से आई रिपोर्ट से ये पता चलता है कि ईवीएम स्ट्रॉंगरुम में लगाए गए सीसीटीवी कैमरा और एलईडी दोनों खराब हो गया था और करीब एक घंटे के लिए लिए काम करना बंद कर दिया था। घटना मतदान के दो दिन बाद यानि कि 30 नवंबर की सुबह 8.19 से लेकर 9.35 तक का है। इसका कारण बिजली नहीं होना बताया गया है। इसके कारण उस पर्टिकुलर समय अवधि के दौरान अंदर की कैमरे की रिकॉर्डिंग नहीं हो पाई है।

अधिकारी सस्पेंड

चुनाव आयोग ने कांग्रेस से आरोपों को नोट किया है हालांकि आयोग का कहना है कि ईवीएम मशीनों के साथ किसी तरह की कोई छेड़ छाड़ नहीं की गई है। इधर इस लापरवाही पर कार्रवाई करते हुए जिम्मेदार नायाब तहसीलदार राजेश मिश्रा को सस्पेंड कर दिया गया है।

कांग्रेस ने उठाए सवाल

शनिवार को कांग्रेस की टीम ने चुनाव आयोग से मिलकर मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में चुनावी परिणाम को प्रभावित करने के लिए साजिश किए जाने का आरोप लगाया है। कांग्रेस ने चिंता जताते हुए ईवीएम की सुरक्षा को लेकर सवाल उठाए हैं।

वरिष्ठ नेता अभिषेक मनु सिंघवी और मनीष तिवारी के नेतृत्व में कांग्रेस की टीम ने चुनाव आयोग को दो अलग-अलग मेमोरंडम सौंपे हैं। चुनाव आयोग से आग्रह किया गया है कि इन राज्यों में चुनाव परिणाम और वोटों की गिनती प्रभावित करने की कोशिशों को रोकने के लिए कदम उठाए जाएं। कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि मध्य प्रदेश में चुनाव परिणाम को प्रभावित करने के लिए ईवीएम से छेड़छाड़ की एक बड़ी साजिश रची जा रही है।

वोटिंग के 48 घंटों बाद बिना नंबर प्लेट की बस पर आईं ईवीएम'

कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि मध्य प्रदेश में पोलिंग खत्म होने के 48 घंटे बाद एक बिना नंबर प्लेट वाली स्कूल बस से ईवीएम लेकर सागर के कलक्टर ऑफिस पहुंची थी। पार्टी ने कहा है कि यह घटना इस बात का स्पष्ट उदाहरण है कि एक पार्टी और कुछ लोग हाल में हुए चुनावों के परिणाम को प्रभावित करने की कोशिशों में जुटे हुए हैं। कांग्रेस ने इस मामले की जांच की मांग की है, साथ ही बस में आई ईवीएम को बाकी ईवीएम से अलग करने को कहा है।

सीएम कलेक्टरों से संपर्क में हैं: कांग्रेस

कांग्रेस के प्रतिनिधिमंडल ने चुनाव आयोग से शिकायत की है कि मॉडल कोड ऑफ कंडक्ट के बावजूद सीएम और जिले के कलेक्टरों के बीच गैरकानूनी बैठकें हुई हैं। प्रतिनिधिमंडल ने कहा है कि छत्तीसगढ़ में डीएम काउंटिंग रूम के भीतर मोबाइल फोन और दूसरे इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस का इस्तेमाल कर रहे हैं। कांग्रेस ने चुनाव आयोग से मांग की है कि स्ट्रॉन्गरूम के पास मौजूद गैरअधिकृत लोगों को भी हटाया जाए।

कमलनाथ, सिंधिया की कार्यकर्ताओं से अपील, सतर्क रहें

मध्य प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ और कांग्रेस सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कार्यकर्ताओं से अपील की है कि मतगणना तक स्ट्रॉन्गरूम पर नजर बनाए रखें। सिंधिया ने चुनाव आयोग को खत भी लिखा है। हालांकि मध्य प्रदेश चुनाव आयोग ने सिंधिया के आरोपों का ट्विटर पर जवाब देते हुए एक बार फिर दावा किया है कि ईवीएम टेंपरप्रूफ हैं। चुनाव आयोग ने बताया है कि ईवीएम को सुरक्षित और सीलकर स्ट्रॉन्ग रूम में रखा गया है। पुलिस फोर्स और राजनीतिक दल, दोनों ही इसपर निगरानी रखे हुए हैं।

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