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गरीब तबके में बढ़ा रोजी-रोटी का संकट, कितनी कारगर होंगी राज्यों की घोषणाएं

देश और दुनिया में कोरोना वायरस महामारी का प्रकोप बढ़ता ही जा रहा है। सरकारी आंकड़ों के मुताबिक देश में...
गरीब तबके में बढ़ा रोजी-रोटी का संकट, कितनी कारगर होंगी राज्यों की घोषणाएं

देश और दुनिया में कोरोना वायरस महामारी का प्रकोप बढ़ता ही जा रहा है। सरकारी आंकड़ों के मुताबिक देश में अभी तक इससे 649 लोग संक्रमित हो चुके हैं और 13 लोगों की मौत हो चुकी है। महाराष्ट्र इस वायरस से सबसे ज्यादा प्रभावित है। निर्माण कार्यों में लगे मजदूर, रेहड़ी-पटरी, खोमचे वाले और रिक्शा चलाने वाले मजदूरों का एक बड़ा वर्ग है जो रोज कमाता है और परिवार का पेट भरता है, लेकिन लॉकडाउन के बाद ऐसे लाखों दिहाड़ी मजदूरों के सामने रोजी-रोटी का संकट खड़ा हो गया है। इससे निपटने के लिए गुरुवार को केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने एक लाख 70 हजार करोड़ के आर्थिक पैकेज का ऐलान किया है। वहीं, राज्य सरकारें भी अपने स्तर पर विभिन्न कदम उठा रही हैं और राहत के लिए तमाम घोषणाएं की हैं। सवाल यह है कि राज्यों की यह घोषणाएं कितनी कारगर होंगी। 

हरियाणा सरकार ने 24 घंटे कोरोना से जंग लड़ रहे कर्मचारियों के लिए बड़ी घोषणा की है। संक्रमित मरीजों के इलाज और जांच में जुटे किसी कर्मचारी की मृत्यु होती है तो एक्सग्रेसिया के तहत 20 से 50 लाख रुपए मिलेंगे। डॉक्टरों की मृत्यु पर आश्रितों को 50 लाख, नर्स की मृत्यु पर 30 लाख और अन्य सभी कर्मियों की मृत्यु पर 20 लाख रुपए दिए जाएंगे। इसमें अनुबंध कर्मियों को भी शामिल किया गया है। सरकार ने किसानों को आश्वासन दिया है कि फसल का एक-एक दाना खरीदेंगे। सरसों खरीद 15 अप्रैल और गेहूं खरीद 20 अप्रैल से स्थिति सामान्य रहने पर शुरू की जाएगी। बिजली, पानी बिलों का ई-भुगतान करने पर इंसेंटिव मिलेगा।

उत्तर प्रदेश सरकार ने ऐेलान किया है कि राज्य के 15 लाख मजदूरों और 20.37 लाख कंस्ट्रक्शन वर्कर को एक-एक हजार रुपए देगी। 1.65 लाख परिवारों को एक महीने का अनाज मुफ्त में उपलब्ध कराया जाएगा। मनरेगा के मजदूरों को तुरंत भुगतान किया जाएगा। पेंशन भोगियों को दो महीने का वृद्धा पेंशन एक ही साथ अप्रैल के महीने में दिया जाएगा। बीपीएल परिवारों को 20 किलो गेहूं और 15 किलो चावल सरकार मुफ्त में देगी।

केरल सरकार ने कोरोना से निपटने के लिए 20 हजार करोड़ रुपए के विशेष वित्तीय पैकेज की घोषणा की है। इस राहत पैकेज में से 2,000 करोड़ रुपए से रोजगार गारंटी कार्यक्रम के तहत बकाया क्लियर किया जाएगा।  दो महीने की वेलफेयर पेंशन एडवांस दी जाएगी।  500 करोड़ रुपए मेडिकल इमरजेंसी के लिए हेल्थ पैकेज के तौर पर रखे गए हैं। इसी पैकेज से जनता को 1,000 फूड स्टॉल्स में 20 रुपए के सस्ते रेट पर भोजन उपलब्ध करवाया जाएगा।  1,000 करोड़ रुपए उन परिवारों के लिए हैं जिन्हें पेंशन या कोई और सरकारी मदद नहीं मिल रही है।

दिल्ली सरकार ने हाल ही में अपने बजट में 50 करोड़ रुपए का प्रावधान कोरोना से निपटने के लिए किया है। राज्य सरकार ने कहा है कि 72 लाख लोगों को मुफ्त 7.5 किलो राशन और 8.5 लाख लोगों को चार से पांच हज़ार रुपए पेंशन देगी। इसके साथ ही नाइट शेल्टरों में मुफ़्त खाने की व्यवस्था शुरू की गई है। कोई भी व्यक्ति यहां जाकर खाना खा सकता है। सरकार ने लोगों से अपने घरों में करने वालों को पेड-लीव देने की भी अपील की है। लॉकडाउन के दौरान किसी कर्मचारी की सैलरी नहीं काटी जा सकती। दिल्ली सरकार ने अपने विभागों के कॉन्ट्रैक्ट और दैनिक मजदूरी में काम करने वालों को भी बंद के दौरान का पूरा वेतन देने का पहले ही निर्णय लिया है। प्राइवेट संस्थानों के कर्मचारियों को भी घर में रहने और इस दौरान उन्हें सैलरी दिए जाने की बात कही है।

बिहार सरकार ने गरीबों के लिए 100 करोड़ रुपये के राहत पैकेज का ऐलान किया है। यह राशि सीएम राहत कोष से दी जाएगी। इस पैकेज से गरीबों और दिहाड़ी मजदूरों को लाभ मिलेगा। राज्य में सभी राशन कार्ड रखने वाले परिवारों को एक-एक हजार की सहायता दी जाएगी। पहले यह केवल शहरी स्थानीय निकाय पंचायतों के अंतर्गत आने वाले परिवारों के लिए ही थी लेकिन बाद में इस सुविधा को विस्तारित करते हुए कहा गया कि यह पैसा उन सभी परिवारों को दिया जाएगा जिनके पास राशन कार्ड है। यह पैसा सभी राशन कार्डधारकों के खातॉ में डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर सिस्टम के जरिए भेजा जाएगा।

राजस्थान सरकार ने कहा है कि पेंशनधारियों को आर्थिक परेशानी का सामना न करना पड़े इसलिए सामाजिक सुरक्षा पेंशन का लाभार्थियों को वितरण अप्रैल माह के प्रथम सप्ताह तक कर दिया जाएगा। राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम से जुड़े एक करोड़ से अधिक परिवारों, जिनको एक रुपये, दो रुपये प्रतिकिलो गेहूं मिलता है, उन्हें मई माह तक गेहूं मुफ़्त दिए जाने के निर्देश गए हैं। शहरी क्षेत्रों में स्ट्रीट वेंडर, दिहाड़ी मजदूरों को एक अप्रैल से दो माह तक आवश्यक खाद्य सामग्री के पैकेट निशुल्क उपलब्ध कराए जाएंगे।

बता दें कि कोरोना वायरस के पॉजिटिव मामले सबसे अधिक 124 महाराष्ट्र में हैं। वहीं, केरल में 118, कर्नाटक में 41, गुजरात में 38, उत्तर प्रदेश में 37, राजस्थान में 36, तेलंगाना में 35, दिल्ली में 35, पंजाब में 29, हरियाणा में 28, तमिलनाडु में 18, मध्य प्रदेश में 14, लद्दाख में 13 कोरोना वायरस से संक्रमित मरीज मिले हैं।  गोवा में भी कोरोना वायरस ने दस्तक दे दी है, वहां तीन नए मामले सामने आए हैं।

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