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प्रवासी मजदूरों को तय समय में घर पहुंचाया जाए, आदेश पर अमल करें केंद्र और राज्यः सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को केंद्र और राज्यों से कहा कि वे 9 जून के आदेश पर अमल करें और उन सभी प्रवासी...
प्रवासी मजदूरों को तय समय में घर पहुंचाया जाए, आदेश पर अमल करें केंद्र और राज्यः सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को केंद्र और राज्यों से कहा कि वे 9 जून के आदेश पर अमल करें और उन सभी प्रवासी मजदूरों को तय समय अवधि के भीतर उनके संबंधित गांवों में जाने के लिए परिवहन मुहैया करना सुनिश्चित करें। कोर्ट ने कहा कि 9 जून का हमारा आदेश बहुत स्पष्ट है कि सभी प्रवासियों को 15 दिनों के भीतर घर पहुंचाएं। साथ ही कहा था कि उनसे किराया न लिया जाए और खाने का इंतजाम किया जाए। अब कोर्ट 6 जुलाई को मामले की सुनवाई करेगा।

जस्टिस अशोक भूषण की अध्यक्षता वाली पीठ ने कोरोनोवायरस के चलते लॉकडाउन के बीच प्रवासी मजदूरों की दुर्दशा से संबंधित मामले में मुकदमा चलाने का संज्ञान लेने के बाद यह आदेश पारित किया था। शुक्रवार को सीनियर एडवोकेट इंदिरा जयसिंह ने कहा कि कोर्ट के पिछले आदेश का सही भावना के साथ पालन नहीं हो रहा है। कोर्ट ने सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता से कहा है कि वह तमाम राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों से कहें कि आदेश पर अमल हो। साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार से कहा है कि आदेश का प्रचार हो ताकि लोगों को इस बारे में पता चले।

15 दिन में गांव भेजने का दिया था आदेश

कोर्ट ने पिछली सुनवाई में आदेश दिया था कि राज्य 15 दिन में बचे हुए श्रमिकों को अपने-अपने गांवों तक भेजें। श्रमिक ट्रेनें ज्यादा चलाई जाएं ताकि उनको यात्रा के लिए एप्लाई करने के 24 घंटों में ही ट्रेन मिल जाए। पलायन करने का मन बना चुके प्रवासी श्रमिकों को 15 दिनों के अंदर अपने गांव या जहां वो जाना चाहें भेजने का समुचित इंतजाम सुनिश्चित किया जाए।

रोजगार देने की स्कीम तैयार करें राज्य

कोर्ट ने कहा था कि राज्य श्रमिकों को स्थानीय स्तर पर रोजगार देने की स्कीम तैयार करें। इसके लिए पलायन कर गए सभी श्रमिकों की पहचान कर पूरी विस्तृत जानकारी वाला डाटा तैयार किया जाए। फिर उनको समुचित रोजगार देने की स्कीम बनाई जाए। सभी श्रमिकों की स्किल मैपिंग का इंतजाम हो। डिजास्टर मैनेजमेंट एक्ट के मुताबिक श्रमिकों के खिलाफ लॉकडाउन के नियम तोड़ने के आरोप में दर्ज सारी शिकायतें और मुकदमे वापस/रद्द करने पर विचार किया जाए।

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