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सितारों का महामेला और भिड़ंत

लियोनेल मेस्सी और क्रिस्टियानो रोनाल्डो का फुटबॉल में एक दशक से अधिक समय से वर्चस्व बना हुआ है। हालांकि, अब भी दोनों की झोली में एक खिताब की कमी है...
दमखमः बार्सिलोना की ओर से ‌र‌ियल मैड्रिंड पर गोल दागने के बाद खुशी से उछलते मेस्सी

अगर हॉलीवुड के लेखकों की फौज इस साल के फीफा विश्वकप से पहले अपने मन-मुताबिक स्क्रिप्ट तैयार कर रही होगी, तो 15 जुलाई को मॉस्को में फाइनल में अर्जेंटीना का सामना पुर्तगाल से होगा और इस मुकाबले में फुटबॉल के दो दिग्गज खिलाड़ी क्रिस्टियानो रोनाल्डो और ल‌ियोनेल मेस्सी के बीच दिलचस्प मुकाबला होगा। फुटबॉल के सबसे बड़े मेगास्टार अपने शानदार कॅरिअर के अंतिम चरण में पहुंच रहे हैं। और, लगता है कि खेल के सबसे प्रतिष्ठित पुरस्कार को जीतकर पेले, डिएगो माराडोना और जिनेदिन जिदान जैसे दिग्गजों की कतार में शामिल होने का यह उनके पास आखिरी अवसर है। दोनों महान खिलाड़ियों से उम्मीद है कि वे इसके लिए अपना सब कुछ दांव पर लगा देंगे। अपनी टीमों के दोनों कप्तानों में से जो भी 18 कैरेट गोल्ड की ट्रॉफी जीतने में कामयाब होगा, वह निश्चित तौर पर इस बहस को खत्म कर देगा कि कौन सर्वकालिक महान खिलाड़ी है।

महानता के लक्षण

पिछले 10 वर्षों से मेस्सी और रोनाल्डो ने खेल के शीर्ष पर होने की बहस को खत्म कर दिया है, क्योंकि फुटबॉल के बाकी खिलाड़ी उनके इर्द-गिर्द भी नजर नहीं आते। आंकड़ों के मुताबिक भी इन दोनों दिग्गज खिलाड़ियों ने फुटबॉल को नई ऊंचाइयों पर पहुंचा दिया है। 2008 के बाद से मेस्सी और रोनाल्डो ने फुटबॉल के अग्रणी खिलाड़ी के लिए मिलने वाले सालाना पुरस्कार बैलन डी’ओर पर अधिकार जमा लिया है। दोनों ने पांच-पांच बार इस खिताब को जीता है।

मेस्सी बार्सिलोना के सर्वकालिक टॉप गोल-स्कोरर हैं, तो रोनाल्डो ने भी रियल मैड्रिड के लिए सर्वाधिक गोल किए हैं। रोनाल्डो 120 गोल के साथ यूईएफए चैंपियंस लीग के सर्वकालिक टॉप स्कोरर हैं, जबकि मेस्सी 100 गोल के साथ दूसरे पायदान पर हैं। दोनों स्पेनिश घरेलू फुटबॉल लीग ला लीगा में फ्री किक से लेकर सबसे ज्यादा पेनाल्टी में रिकॉर्डधारी हैं। मेस्सी के नाम सबसे ज्यादा 24 फ्री-किक का रिकॉर्ड है, तो रोनाल्डो के नाम सबसे अधिक 61 बार पेनाल्टी का कीर्तिमान है।

ला लीगा के इतिहास में अर्जेंटीना के मेस्सी ने सबसे अधिक गोल असिस्ट (149) किया, वहीं पुर्तगाली रोनाल्डो ने सबसे अधिक 37 बार हैट-ट्रिक गोल किए। एक खिलाड़ी के लिए इस स्तर पर एक दशक से अधिक समय तक सफलता हासिल करना वाकई उल्लेखनीय है। अधिकांश फुटबॉल लेखकों का मानना है कि हम भविष्य में इस तरह की श्रेष्ठ प्रतिस्पर्धा कभी नहीं देख पाएंगे और एक की जगह दूसरे खिलाड़ी को चुनना एक मुश्किल विकल्प हो सकता है।

हालांकि, अगर आप इस बहस में कूदने में रुचि रखते हैं कि ‘कौन श्रेष्ठ है’, तो जरा संभल कर!

ऐसे में सोशल मीडिया से दूर रहें, क्योंकि यहां मेस्सी और रोनाल्डो के  ‘फैन्स’ के बीच साफ-साफ खेमेबंदी दिखती है, जो ट्विटर पर एक-दूसरे पर कीचड़ उछालने का कोई मौका नहीं छोड़ते। मेस्सी के प्रशंसक रोनाल्डो के कथित स्वार्थी और पेनाल्टी पर गोल करने वाले खिलाड़ी के रूप में मजाक उड़ाते हुए खुशी जाहिर करते हैं। वे कहते हैं कि इसी वजह से रोनाल्डो टॉप गोल स्कोरर हैं। वहीं, रोनाल्डो के समर्थक सवाल करते हैं कि अर्जेंटीना मेस्सी के क्लब बार्सिलोना जैसा प्रदर्शन कब करेगा।

रोनाल्डो ने मैनचेस्टर यूनाइटेड और रियल मैड्रिड दोनों जगहों पर कई ट्रॉफी जीती हैं, जबकि मेस्सी ने सभी उपलब्धियां नोउ कैंप (बार्सिलोना के स्टेडियम) में हासिल कीं, जहां उनके इर्द-गिर्द ही टीमों को बनाया गया है। फुटबॉलडॉटलंदन वेबसाइट के प्रमुख संपादक ग्रेग जॉनसन का मानना है कि रोनाल्डो ने अपने पूरे कॅरिअर में मेस्सी की तुलना में अधिक काबिलियत दिखाई है। वे कहते हैं, “मेस्सी बार्सिलोना की विशिष्ट शैली वाले खिलाड़ी हैं, जिसने अपनी खास शैली विकसित की है, जिसमें शुरुआत से ही बहुत ज्यादा बदलाव नहीं आया है। रोनाल्डो परिस्थितियों के हिसाब से ढलने वाले और दृढ़ संकल्प के साथ अपनी खासियतों वाले दिग्गज खिलाड़ी हैं।”

इसके अलावा, अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पुर्तगाल की यूरो 2016 की जीत ने मेस्सी पर रोनाल्डो को और अधिक बढ़त दे दी, क्योंकि उन्होंने विश्वकप के बाद महत्वपूर्ण मानी जाने वाली दूसरी सबसे बड़ी प्रतियोगिता जीती। मेस्सी 2014 में ब्राजील में अर्जेंटीना को विश्वकप ‌जिताने और महान माराडोना की बराबरी करने के काफी करीब आ गए थे, लेकिन ला अल्बिसेलस्टे (अर्जेंटीना की फुटबॉल टीम) के साथ उनके कॅरिअर को निराशा और हताशा से जोड़ा गया।  पिछले साल कोपा अमेरिका के फाइनल में चिली से मिली हार एंटी-क्लाइमेक्स की लंबी फेहरिस्त में हालिया कड़वी निराशा थी। इस मैच में मेस्सी ने पेनाल्टी से गोल करने का मौका गंवा दिया था।

हालांकि, मेस्सी के प्रशंसक कहते हैं कि अर्जेंटीना (अराजकता के लिए कुख्यात) फुटबॉल संघ की विफलताओं के लिए उन्हें दोषी नहीं ठहराया जा सकता है। वे अपनी बात पर कायम रहे कि मेस्सी शुद्ध और संपूर्ण फुटबॉलर के प्रतीक हैं। फुटबॉल डाटा स्पेशलिस्ट स्क्वाका के फीचर संपादक मुहम्मद बट्ट कहते हैं, “अगर आप सिर्फ गोल-स्कोरिंग पर ध्यान देते हैं, तो निश्चित रूप से  रोनाल्डो और मेस्सी में ही प्रतिस्पर्धा है। लेकिन फुटबॉल गोल करने से कहीं अधिक है। यकीनन मेस्सी अपनी टीम के सर्वश्रेष्ठ गोल-स्कोरर हैं, लेकिन वह अपनी टीम के मुख्य अटैकिंग मिडफील्डर भी हैं। वह दुनिया में संयुक्त रूप से सबसे अच्छे गोल-स्कोरर और दुनिया के सर्वश्रेष्ठ प्लेमेकर हैं। मेस्सी एक बहुआयामी प्रतिभा वाले, धरती पर सबसे अच्छे खिलाड़ी हैं।”

फिलहाल, दोनों खिलाड़ियों में अलग करने वाली बहुत कम चीजें हैं और शायद तभी फुटबॉल के बारे में एक मौलिक सवाल उठता है कि आप अपने फुटबॉलर को किस तरह पसंद करते हैं। क्या महान खिलाड़ी वह है, जो व्यक्तिगत प्रतिभा से टीमों का सम्मान बढ़ाते हैं या महानतम खिलाड़ी अपनी टीमों और टीम के साथियों को बेहतर बनाते हैं? पहले वाले मामले में रियल मैड्रिड और रोनाल्डो तथा बाद वाले में बार्सिलोना और मेस्सी को रखकर सोचें। इस विवाद में आप जिस भी पक्ष में खड़े हों, कुछ लोग तर्क देंगे कि दोनों प्रतिभाओं ने अपनी योग्यताओं और उपलब्धियों से ही यह ख्याति हासिल की है। फिर भी सच्चाई  यह है कि यह प्रतिस्पर्धा ही है, जिसने दोनों को खुद का खेल सुधारने और अधिक रिकॉर्ड कायम करने के लिए प्रेरित किया है।

जो लोग सबसे महान खिलाड़ी की पहचान करना चाहते हैं, उन्हें 15 जुलाई को उनका जवाब मास्को से मिल जाएगा।

सर्वश्रेष्ठ बनाम बाकी सभी

रोनाल्डो और मेस्सी पिछले दस साल में इसे पांच-पांच बार जीत चुके हैं, लेकिन कई युवा खिलाड़ी अपना पहला बैलन डी’ओर खिताब जीतने की दिशा में कदम बढ़ा रहे हैं। कुछ अग्रणी खिलाड़ियों के नाम इस प्रकार हैं...

नेमार जूनियर

उम्रः 26, क्लबः पेरिस सेंट-जर्मेन, देशः ब्राजील

मेस्सी और रोनाल्डो का वारिस माने जाने वाले नेमार ने पिछली गर्मियों में बार्सिलोना छोड़ पीएसजी से रिकॉर्ड दो सौ मिलियन पाउंड में डील करके पूरी दुनिया को अचंभित कर दिया। नेमार ने यूरोप के शीर्ष पांच लीग के आखिरी सत्र में किसी भी अन्य खिलाड़ी की तुलना में प्रति खेल सबसे अधिक ड्रिबल्स का प्रयास किया। रूस में नेमार एक बार फिर ब्राजील के लिए तुरुप का इक्का होंगे।

मोहम्मद सालेह

उम्रः 25, क्लबः लिवरपूल, देशः मिस्र

जब लिवरपूल ने पिछली गर्मियों में मोहम्मद सालेह को रोमा से अपने क्लब में लाने के लिए 3.7 करोड़ पाउंड खर्च किए, तो कई लोगों ने सवाल किया कि तेज और फुर्तीला यह खिलाड़ी इतनी बड़ी रकम के लायक है भी या नहीं। लेकिन नौ महीने बाद यह ट्रांसफर सदी का सौदा की तरह लगता है। सालेह ने प्रीमियर लीग के एक सत्र में रिकॉर्ड 32 गोल किए और चैंपियंस लीग में अपने शानदार प्रदर्शन से प्रभावित किया।

एंतियानो ग्रेजमैन

उम्रः 27, क्लबः एटलेंटिको मैड्रिड, देशः फ्रांस

गोल के बाद दिलचस्प सेलिब्रेशन के तरीके ने इस अटैकर को स्टार बना दिया है। इस सीजन में बार्सिलोना में मेस्सी से भी जुड़े। यूरोपा लीग फाइनल में प्रदर्शन (दो गोल और एक में असिस्ट) से मार्सेल पर 3-0 की जीत मिली।  इससे पता चलता है कि वह बड़े मौके पर काम आने वाले खिलाड़ी हैं। लेस ब्लीस (फ्रांसीसी फुटबॉल टीम) को रूस में ग्रैजमैन से अधिक जादुई पलों की उम्मीद होगी।

ईडन हैजर्ड

उम्रः 27, क्लबः चेल्सी, देशः बेल्जियम

जब हैजर्ड किसी सीजन में फॉर्म में होते हैं, तो ब्रिटिश क्लब चेल्सी आमतौर पर प्रीमियर लीग जीतती है। तेजतर्रार यह अटैकर जब चाहे गोल कर सकता है और अपनी तेजी से विपक्षी डिफेंस को भेद सकता है। लेकिन अभी उनमें मेस्सी और रोनाल्डो के स्तर वाली कंसिस्टेंसी नहीं है। बेल्जियम की सुनहरी पीढ़ी के अग्रणी फुटबॉलर में शुमार हैजर्ड पर काफी लंबे समय से रियल मैड्रिड की नजर है।

पाउलो ड्याबला

उम्रः 24, क्लबः जुवेंटस, देशः अर्जेंटीना

जुवेंटस में तीन सीरीज खिताब जीतने और क्लब के लिए 106 मैचों में 68 गोल करने वाले पाउलो ड्याबला ऐसे खिलाड़ी हैं, जिसे कोई भी अंतरराष्ट्रीय कोच टीम में रखना चाहेगा। यह बेहद चौंकाने वाला तथ्य है कि वह अर्जेंटीना के मैनेजर जॉर्ज सोम्पोली की फेवरिट लिस्ट में नहीं हैं और सोम्पोली उन्हें मेस्सी केंद्रित टीम में मिसफिट मानते हैं। हालांकि, वे एक शानदार अटैकर हैं और जबरदस्त फ्री-किक लेते हैं।

कायलां बाप्पे

उम्रः 19, क्लबः पेरिस सेंट-जर्मेन, देशः फ्रांस

2016/17 के यूईएफए चैंपियंस लीग में शानदार प्रदर्शन के बाद कायलां बाप्पे को पिछली गर्मियों में मोनाको से पीएसजी के लिए बेहद लाभदायक ट्रांसफर ऑफर मिला। पेरिस में जन्मे इस स्टार खिलाड़ी की तुलना युवा थियरे हेनरी से की गई है। फ्रेंच चैंपिंयंस के इस सत्र में उन्होंने 48 मैचों में 34 गोल दागे या गोल करने में मदद पहुंचाई। विश्वकप में सबकी निगाहें उन पर होंगी।

केविन डे ब्रुएन

उम्रः 26, क्लब: मैनचेस्टर सिटी, देश: बेल्जियम

मैनचेस्टर सिटी के मैनेजर पेप गार्डियोला ने इस वाइड अटैकर को सेंट्रल प्लेमेकर के तौर पर फिर से ग्रूम किया। इसके बाद डे ब्रुएन ने प्रीमियर लीग में 16 गोल करने में असिस्ट किया, जो किसी भी शीर्ष खिलाड़ी से अधिक है। इस स्टार खिलाड़ी के पास विश्वकप में गेंद पर नियंत्रण का बहुत अधिक मौका होगा और वह एक खतरनाक पास देकर अपनी टीम के लिए बेहद उपयोगी साबित हो सकते हैं।

पॉल पोग्बा

उम्रः 25, क्लब: मैनचेस्टर यूनाइटेड, देश: फ्रांस

लंबी कदकाठी और तकनीकी रूप से परिस्थितियों के मुताबिक ढलने की क्षमता वाले पोग्बा में सबसे अच्छा मिडफील्डर होने की तमाम खूबियां हैं। पोग्बा की तकदीर में कॅरिअर के शीर्ष पर पहुंचना तब लिखा था, जब मैनचेस्टर यूनाइटेड ने 2016 में उस पर रिकॉर्ड 8.9 करोड़ पाउंड खर्च किया। पोग्बा ने उसके बाद से अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन नहीं किया है, लेकिन रूस में लेस ब्लीस टीम के महत्वपूर्ण खिलाड़ियों में से एक होंगे।

(लेखक वेस्ट हैम यूनाइटेड के हेड ऑफ कंटेंट हैं और लंदन इवनिंग स्टैंडर्ड और गोलडॉटकॉम के लिए एक दशक तक फुटबॉल पर लिखते रहे हैं)

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