उत्तराखंड के कांग्रेस के बागी विधायकों ने भाजपा का दामन थाम लिया है। बुधवार को दिल्ली भाजपा मुख्यालय में इन विधायकों ने पार्टी के प्रति अपनी आस्था जताते हुए सदस्यता ग्रहण की।
उत्तराखंड में सत्ता गठन का सपना संजो रही भाजपा को करारा झटका लगा है। उच्च न्यायालय ने कांग्रेस के 9 बागी विधायकों की याचिका खारिज करते हुए उन्हें अयोग्य करार दिया है। हाई कोर्ट के ऐसे रुख के बाद बागी विधायक सुप्रीम कोर्ट जाने की तैयारी में हैं।
उत्तराखंड में सरकार बनाने की जुगत में लगी भाजपा को करारा झ्ाटका लगा है। सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को साफ कहा कि उत्तराखंड में कांग्रेस के 9 बागी विधायक शक्ति परीक्षण में वोट नहीं डाल सकेंगे।
उच्चतम न्यायालय के आदेश पर आगामी 10 मई को उत्तराखंड विधानसभा में होने वाले शक्ति परीक्षण को लेकर कांग्रेस और भाजपा दोनों राजनीतिक दलों ने आज अपने विधायकों को व्हिप जारी करने की प्रक्रिया शुरू कर दी। राज्य विधानसभा में कांग्रेस की मुख्य सचेतक और पूर्व संसदीय कार्यमंत्री इंदिरा ह्रदयेश ने यहां बताया कि पार्टी के सभी विधायकों को 10 मई को होने वाले शक्ति परीक्षण को लेकर व्हिप जारी करने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है।
साल 2012 के विधानसभा चुनाव से ठीक पहले उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने बाहुबली नेता डीपी यादव को समाजवादी पार्टी में लेने से इनकार कर दिया था। उसके बाद ही प्रदेश में ऐसा माहौल बना कि अखिलेश पूर्ण बहुमत के साथ सत्ता में आए।
उत्तराखंड में कांग्रेस के नौ अयोग्य घोषित किए गए बागी विधायकों के भाग्य को लेकर अनिश्चितता बरकरार है क्योंकि उत्तराखंड उच्च न्यायालय ने इस मुद्दे पर नौ मई तक अपना फैसला सुरक्षित रख लिया है।
उत्तराखंड में राजनीतिक अस्थिरता का दौर खत्म होने वाला है। सुप्रीम कोर्ट ने निर्देश दिया है कि उत्तराखंड विधानसभा में 10 मई को शक्ति परीक्षण कराया जाएगा। शक्ति परीक्षण सुबह 11 बजे से दोपहर एक बजे तक कराया जाएगा।
बागी विधायकों की कथित खरीद-फरोख्त में खुद की संलिप्तता दिखाने वाली स्टिंग सीडी को अब तक फर्जी और गलत बताने वाले उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने आज उसमें अपनी मौजूदगी को मान लिया। हालांकि उन्होंने कहा कि यह सब भाजपा के आपराधिक षड़यंत्र का हिस्सा था और वह जेल जाने को तैयार हैं।
खुद को अयोग्य ठहराए जाने के खिलाफ कांग्रेस के नौ विधायकों की उच्च न्यायालय में दायर याचिका को उत्तराखंड विधानसभा के अध्यक्ष ने खारिज करने की मांग करते हुए आज कहा कि इन सबने दल-बदल कानून का उल्लंघन किया और इसके लिए उन्हें दंडित किया जाना चाहिए।