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कोर सेक्टर की ग्रोथ में कमी ने बढ़ाई चिंता, 10 महीने के निचले स्तर पर पहुंची

कोर सेक्टर की ग्रोथ में आई कमी ने भारतीय अर्थव्यवस्था की चिंताएं बढ़ा दी है। मई में कोर सेक्टर की ग्रोथ...
कोर सेक्टर की ग्रोथ में कमी ने बढ़ाई चिंता, 10 महीने के निचले स्तर पर पहुंची

कोर सेक्टर की ग्रोथ में आई कमी ने भारतीय अर्थव्यवस्था की चिंताएं बढ़ा दी है। मई में कोर सेक्टर की ग्रोथ 3.6 प्रतिशत पर आ गई है। जबकि अप्रैल में यह ग्रोथ 4.6 फीसदी पर थी। कोर सेक्टर की ग्रोथ पिछले 10 महीने के निम्नतम स्तर पर है।

समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, जुलाई 2017 के बाद से यह सबसे कम ग्रोथ है जब कोर सेक्टर ग्रोथ 2.9 प्रतिशत दर्ज की गई थी।

वाणिज्य व उद्योग मंत्रालय की ओर से सोमवार को जारी आंकड़ों के मुताबिक कच्चे तेल और प्राकृतिक गैस ने पिछले साल की तुलना में मई में क्रमश: 2.9 प्रतिशत और 1.4 प्रतिशत की नकारात्मक वृद्धि दर्ज की।

 रिफाइनरी उत्पादों, इस्पात और बिजली की वृद्धि दर मई 2017 में क्रमशः 5.4 प्रतिशत, 3.8 प्रतिशत और 8.2 प्रतिशत से 4.9 प्रतिशत, 0.5 प्रतिशत और 3.5 प्रतिशत की गिरावट आई।

हालांकि, पिछले साल मई में कोयले और उर्वरक का उत्पादन क्रमश: 12.1 प्रतिशत और 8.4 प्रतिशत बढ़ गया था।  इस वित्त वर्ष के अप्रैल-मई के दौरान, आठ प्रमुख उद्योगों ने पिछले वर्ष की इसी अवधि में 3.3 प्रतिशत के मुकाबले 4.1 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की थी।

क्या है कोर सेक्टर?

कोर सेक्टर ग्रोथ में 8 इंडस्ट्री शामिल होती हैं। इनमें कोल, क्रूड ऑयल, नैचुरल गैस, रिफायनरी प्रोडक्ट्स, फर्टिलाइजर्स, स्टील, सीमेंट और इलेक्ट्रिसिटी शामिल हैं।

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