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पाक की सूफी दरगाह में आत्मघाती हमला, सौ मरे

पाकिस्तान के सिंध प्रांत के सहवान कस्बे में स्थित लाल शाहबाज कलंदर दरगाह के भीतर आज रात हुए आत्मघती विस्फोट में करीब सौ लोगों की मौत हो गई और दो सौ से अधिक लोग घायल हो गए। मीडिया रिपोर्टों के अनुसार आतंकी संगठन आईएसआई ने हमले की जिम्मेदारी ली है।
पाक की सूफी दरगाह में आत्मघाती हमला, सौ मरे

पाकिस्तान में एक सप्ताह के भीतर यह पांचवां आतंकी हमला हुआ है। हमलावर सुनहरे गेट से दरगाह के भीतर दाखिल हुआ और पहले उसने ग्रेनेड फेंका लेकिन वह नहीं फटा। पुलिस के अनुसार यह धमाका सूफी रस्म धमाल के दौरान हुआ। विस्फोट के समय दरगाह के परिसर के भीतर सैकड़ों की संख्या में जायरीन मौजूद थे।

सहवान के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक ने कहा कि उसने अफरा-तफरी मचाने के लिए पहले ग्रेनेड फेंका और फिर खुद को उड़ा लिया। किसी संगठन ने इस हमले की जिम्मेदारी नहीं ली है।

तहरीक-ए-तालिबान अक्सर सूफी दरगाहों को निशाना बनाता है। साल 2005 से देश की 25 से अधिक दरगाहों पर हमले हुए हैं। हैदराबाद के आयुक्त काजी शाहिद ने कहा कि यह दरगाह दूरस्थ इलाके में स्थित है,  ऐसे में हैदराबाद, जमशोरो, मोरो, दादू और नवाबशाह से एंबुलेंस एवं वाहनों तथा चिकित्सा दलों को मौके पर रवाना कर दिया गया है।

उन्होंने कहा, अस्पतालों में आपात स्थिति घोषित कर दी गई है और बचाव अभियान शुरू कर दिया गया है। सिंध प्रांत के गवर्नर सैयद मुराद अली शाह ने कहा कि पाकिस्तानी सेना से आग्रह किया गया है कि वह रात में उड़ सकने वाले हेलीकॉप्टर मुहैया कराए ताकि शवों और घायलों को लाया जा सके।

इससे पहले वरिष्ठ पुलिस अधिकारी तारिक विलायत ने बताया था कि शुरुआती रिपोर्ट से पता चलता है कि यह आत्मघाती विस्फोट है। विस्फोट दरगाह में महिलाओं के लिए आरक्षित क्षेत्र में हुआ। बचाव अधिकारियों ने कहा कि पर्याप्त एंबुलेंस नहीं होने की वजह से मरने वालों की संख्या बढ़ सकती है।

सप्ताह में गुरुवार के दिन बड़ी संख्या में लोग दरगाह जाते हैं। लाल शाहबाज कलंदर सूफी दार्शनिक-शायर थे। सूफी दरगाह पर यह हमला उस वक्त हुआ है जब एक दिन पहले ही पाकिस्तान सरकार ने देश में आतंकी हमलों में हुई बढ़ोतरी को देखते हुए उन सभी तत्वों को मिटाने का संकल्प लिया था जो देश में शांति एवं सुरक्षा पर खतरा पैदा कर रहे हैं।

प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने देश में सुरक्षा हालात की समीक्षा के लिए एक उच्च स्तरीय सुरक्षा बैठक की जिसमें यह फैसला लिया गया। एक आधिकारिक बयान में कहा गया कि बैठक में देश में पनपने वाले आतंकवाद या बाहर से अंजाम दिए जा रहे या प्रश्रय पाने वाले आतंकवाद के खात्मे का तथा देश की शांति एवं सुरक्षा पर खतरा पैदा कर रहे तत्वों को सरकार की ताकत से मिटाने का संकल्प लिया गया। बैठक में आतंकवाद एवं अतिवाद के भौतिक एवं वैचारिक खात्मे के संकल्प को दोहराया गया। (एजेंसी)

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