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उत्तर प्रदेश पंचायत चुनावः समाजवादी पार्टी की कठिन परीक्षा

उत्तर प्रदेश में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव समाजवादी पार्टी के लिए कठिन परीक्षा वाला चुनाव साबित होने जा रहा है। राज्य में चार चरणों में मतदान होना है और पहले चरण का मतदान 9 अक्टूबर को हो रहा है। जबकि दूसरा चरण 13, तीसरा 17 और चौथे चरण का मतदान 29 अक्टूबर को होगा। जबकि मतगणना एक नवंबर को होगी।
उत्तर प्रदेश पंचायत चुनावः  समाजवादी पार्टी की कठिन परीक्षा

भले ही चुनाव राजनीतिक दलों के बैनर तले न हो लेकिन समाजवादी पार्टी की सरकार होने के नाते ज्यादातर उम्मीदवार इस पार्टी के समर्थन वाले हैं। इसको लेकर पार्टी के अंदर बड़ी फूट दिखाई पड़ रही है। कई जगहों पर सपा समर्थित उम्मीदवारों के कारण पार्टी परेशान भी है। वहीं भारतीय जनता पार्टी अपने समर्थकों को यह संदेश दे रही है कि पंचायत चुनाव में उनके समर्थक ज्यादा से ज्यादा सीटें हासिल करें। सपा सूत्रों के मुताबिक पंचायत चुनाव को पार्टी ने गंभीरता से लिया है और जहां विरोध हो रहा है उसको दबाने के प्रयास में जुटी है। लेकिन मतदाताओं का रुझान किधर होगा इसको लेकर पार्टी आशंकित है।

सूत्रों का कहना है कि पहले चरण में राज्य कई जिलों में मतदान होना है जहां समाजवादी पार्टी समर्थित उम्मीदवारों को विरोध का सामना करना पड़ सकता है। बताया जा रहा है कि एक-एक सीट पर सपा समर्थित कई उम्मीदवारों के होने से घमासान मचा हुआ है। कई जिलों में छुटपुट हिंसा की खबरें भी हैं। वहीं भाजपा और बसपा ने एक रणनीति बनाकर चुनाव लड़ने का मन बनाया है। भाजपा के एक वरिष्ठ नेता के मुताबिक पार्टी ने पहले ही निर्देश दे दिया कि जो भी उम्मीदवार होगा उसे पार्टी का समर्थन होगा वहीं रणनीति बसपा की भी है। ऐसे में सभी दल सतर्क होकर चुनाव मैदान में ताल ठोंक रहे हैं।

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